बदायूं जिले के मतदाताओं द्वारा लिया गया हर निर्णय सही ही है, लेकिन सहसवान के साथ बिल्सी, इस्लामनगर और सैदपुर के मतदाता अतिरिक्त बधाई के पात्र हैं। मतदाताओं ने बड़ी ही सूझ-बूझ से काम लिया, जिससे जिले भर में प्रशंसा हो रही है।
सहसवान नगर पालिका परिषद के मतदाताओं ने भ्रष्टाचार के रावण को कब्रिस्तान में दफन कर दिया, इसी तरह दलालों और माफियाओं को बिल्सी के नगर पालिका परिषद के कार्यालय में घुसने की अनुमति मतदाताओं ने नहीं दी, यहाँ भाजपा के अनुज वार्ष्णेय को जिता कर मतदाताओं ने बिल्सी की प्रतिष्ठा को बचा लिया। नगर पंचायत इस्लामनगर में सपा प्रत्याशी के भाई वाहिद खां ने खुलेआम दावा किया था कि चेयरमैन बनने के बाद काले जानवर कटवाये जायेंगे एवं पुलिस का गिरेबान पकड़ कर छुड़वा देंगे, ऐसा निंदनीय दावा करने वाले वाहिद खां की बहन को मतदाताओं ने पूरी तरह नकार दिया, यहाँ से पूर्व बसपा विधायक मुसर्रत अली “बिट्टन” के भाई की पत्नी निशांत नाजिम विजयी हुई हैं।
नगर पंचायत सैदपुर में सपा प्रत्याशी के द्वारा मतदाताओं को प्रलोभन दिया गया था, जबकि पूर्व में पति इशरत खां चेयरमैन थे, उन्होंने जनता के हित में कार्य किये होते, तो चुनाव में मतदाताओं को प्रलोभन देने की आवश्यकता ही नहीं पड़ी होती। प्रलोभन देने पे पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया, साथ ही मतदाताओं ने पूरी तरह नकार दिया, यहाँ से निर्दलीय आयशा बेगम ने जीत कर लोगों का लोकतंत्र में विश्वास और बढ़ा दिया है।
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