उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के विशेष प्राथमिकता वाले कार्यक्रम कौशल विकास मिशन में भी भ्रष्टाचारियों ने सेंध लगा दी है। शिकायत पर जांच के लिए सीडीओ ने कमेटी गठित कर दी है। जांच में शिकायत सही पाई गई, तो दोषियों के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कराया जायेगा।
मुख्यमंत्री अखिलेश यादव कौशल विकास मिशन को लेकर बेहद उत्साहित नजर आते हैं। अपनी प्राथमिकताओं में वे सर्वप्रथम कौशल विकास मिशन की चर्चा करते हैं, लेकिन अधिकारी-कर्मचारी व एनजीओ मिल कर उनके इस मिशन में बाधा पहुंचाते नजर आ रहे हैं। सर्वप्रथम तो सेंटर निर्धारित करने में घपला किया गया है। सेंटर कब, कैसे और किसने बना दिए, इसकी जानकारी जिला स्तरीय अफसरों को नहीं है, साथ ही ऐसे लोगों को ट्रेंड करने का दायित्व सौंप दिया गया है, जिनके पास संसाधन हैं ही नहीं। फिलहाल बात ताजा प्रकरण की करते हैं। बदायूं में शिवांगी कोचिंग सेंटर को भी पात्रों को ट्रेंड करने का दायित्व दिया गया है, लेकिन यहाँ कुछ और ही किया जा रहा है।
मंगलवार को मुख्य विकास अधिकारी देवेन्द्र कुमार कुशवाह से कई युवक व युवतियां मिले और उन्होंने लिखित शिकायत देते हुए बताया कि एक हजार रूपये नाम लिखते समय लिए एवं दो सौ रूपये बैंक में खाता खुलवाने के लिए। शिकायतकर्ताओं ने यह भी बताया कि सेंटर संचालक ने बैंक प्रबंधक से मिल कर सभी के खातों से रूपये भी निकाल लिए हैं। शिकायत को गंभीरता से लेते हुए सीडीओ देवेन्द्र कुमार कुशवाह ने दो सदस्यीय कमेटी गठित कर दी है, जो प्रकरण की जाँच कर सीडीओ को आख्या देगी। शिकायत सही पाई गई, तो शिवांगी कोचिंग सेंटर के संचालक व बैंक प्रबंधक के विरुद्ध मुकदमा दर्ज हो सकता है।