बदायूं जिले की पुलिस और खाद्य निरीक्षक पशु धन को लेकर फिर लापरवाह हो गये हैं। लापरवाही, दबाव और भ्रष्टाचार के चलते एक बार फिर मीट का अवैध धंधा होने लगा है। बैल के अवशेष मिलने से सहसवान में हड़कंप मचा हुआ है।
भाजपा सरकार बनने के बाद प्रदेश भर में अवैध कटान को लेकर जैसा अभियान चलाया गया, वैसा बदायूं में नहीं चलाया गया, फिर भी सरकार के भय के चलते बड़े स्तर पर हो रहा अवैध कटान स्वतः बंद हो गया, लेकिन अब पुनः अवैध कटान होने लगा है। मुख्यालय पर रोडवेज के आसपास प्रत्येक होटल पर मीट परोसा जा रहा है, जिसमें रोडवेज चौकी पुलिस की मौखिक सहमति बताई जाती है, इसी तरह शहर के पुराने मोहल्लों में भी जगह-जगह मीट बिकने लगा है, जबकि लाइसेंस जारी नहीं किये गये हैं और न ही शर्त के अनुसार दुकानें बनवाई गई हैं, इस सबमें पुलिस के साथ खाद्य निरीक्षक की भी मिलीभगत बताई जा रही है। खाद्य विभाग के अफसर मीट बेचने वालों के संपर्क में बताये जाते हैं, जिन्होंने रूपये लेकर छापा न मारने की गारंटी के साथ मीट बेचने की मौखिक अनुमति दे दी है।
सहसवान कोतवाली क्षेत्र के एक खेत में कुछ देर पहले काटे गये एक बैल के अवशेष मिले हैं, जिसे देखते ही क्षेत्र में हड़कंप मच गया। हालाँकि आम जनता के बीच खबर फैलने के बाद पुलिस भी हरकत में आ गई है, लेकिन पुलिस ने अभी तक किसी के विरुद्ध मुकदमा दर्ज नहीं किया है। सहसवान में भी कई स्थानों पर मीट खुलेआम बेचा जा रहा है।
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