बदायूं जिले के बिल्सी तहसील क्षेत्र में घूमने वाले बाइक सवार ठग पत्रकार सुपारी पत्रकारिता के लिए जिले भर में कुख्यात हैं। यौन उत्पीड़न के आरोपी चिन्यमानंद से मोटी रकम लेकर एक बार फिर अपने कुकर्मों से पत्रकारिता कलंकित कर रहे हैं, वहीं पिछले कुकर्मों के चलते सरगना की हालत लगातार बिगड़ती जा रही है। अवैध वसूली बंद होने से सरगना उपचार भी नहीं करा पा रहा है। सामाजिक प्रतिष्ठा कभी थी नहीं लेकिन, जो थी, वह भी कुकर्म सार्वजनिक होने के कारण चली गई, जिससे लोगों को मुंह दिखाने से बच रहा है। साथी ठग ने झोलाछाप डॉक्टर को लाकर सरगना के गुप्तांग की सफाई करा दी है लेकिन, सुधार नहीं हो पा रहा है।
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उल्लेखनीय है कि बिल्सी तहसील क्षेत्र में घूमने वाले बाइक सवार ठग पत्रकारों की पोल गौतम संदेश ने खोल दी तो, गैंग की अवैध वसूली बंद हो गई। सरगना का महाहरामी गुरु यौन उत्पीड़न के आरोपी चिन्मयानंद की कमेटी में उपाध्यक्ष है, जिसके द्वारा सरगना को चार-छः हजार रूपये की भीख मिल गई है, जिसके चलते चिन्मयानंद को लाभ पहुँचाने की नीयत से सरगना सुपारी पत्रकारिता कर रहा है, ताकि मानसिक दृष्टि से वाधित कर चिन्मयानंद के मुकदमा की पैरवी कमजोर करा सके लेकिन, ऐसा कुछ नहीं है, ऐसे घटिया हजार पोर्टल बनवा ले तो, भी चिन्मयानंद पैरवी कमजोर नहीं करा पायेगा।
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सरगना के बारे में भी बता दें कि यह पैदाइशी हरामी है, इसके कुकर्म इतने भयावह रहे हैं, जिनकी सजा जिंदा रहते हुए ही भोग रहा है। सरगना ता-उम्र सुपारी पत्रकारिता करता रहा है, जिसका दुष्परिणाम बड़े बेटे को मिला, वह पागल हो गया, उसके पागल होने से सरगना की लॉटरी निकल आई, सरगना ने पागल बेटे की बहू कब्जा ली। पत्नी गंभीर बीमारी से ग्रस्त हो गई तो, उसके नाम पर भी लोगों को ठगता रहा। अंत में पत्नी चल बसी, इससे पहले सरगना के माँ-बाप भीख मांगते हुए कुत्तों की घिसट कर मरे थे, साथ ही सरगना के छोटे बेटे की पहली पत्नी सरगना की चरित्रहीनता के चलते आत्महत्या कर चुकी है।
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सरगना 1990 के आस-पास जिले के बाहर जाकर खुद भी भीख मांग चुका है तभी, इसके अंदर स्वाभिमान नाम की कोई चीज नहीं है। विकलांगों की तरह धर्मशाला में आधी जिंदगी गुजार चुका है, इसने अपनी जेब से कभी किसी को टॉफी भी नहीं खिलाई है, इसे लगता है कि यह औरों का माल खाने और ठगने को ही पैदा हुआ है। कभी किसी दबंग के आस-पास से भी नहीं गुजरा है लेकिन, दीन-हीन गरीबों को कभी छोड़ा नहीं, जिसकी भयावह सजा अब भुगत रहा है।
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कुकर्मों के चलते सरगना के शरीर पर पहले कुष्ठ रोग के प्रतीक लाल धब्बे बने, जो लगातार फैलते जा रहे हैं, इसी के साथ सरगना के गुप्तांग में संक्रमण हो गया। सरगना गे है, जिसके चलते संक्रमण हुआ है। संक्रमण के कारण सरगना बेहद परेशान बताया जा रहा है। साथी ठग ने आज एक झोलाछाप डॉक्टर को लाकर दिखाया तो, मुंह पर कपड़ा बाँध कर सरगना के गुप्तांग की सफाई कर गया पर, इससे भी सरगना को कोई राहत नहीं मिल पा रही है। सरगना के साथी ठग की हालत यह है कि यह किसी रिश्तेदारी में जा भी नहीं सकता, ठगे बिना कोई रिश्तेदार नहीं छोड़ा है, इसे ससुराल की संपत्ति भी मिल गई थी, इसके बावजूद इसके कुकर्म जेबकतरों जैसे हैं, इसके पास आज कुछ नहीं है, कंगाल होने के बाद सरगना के साथ अवैध वसूली करने लगा था, जो बंद होने से साथी ठग भी पाई-पाई को मोहताज हो गया है।
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यह भी बता दें कि ठगई की पोल खुलने के बाद सरगना घर में कैद हो गया, गिरोह के अधिकाँश सदस्य भूमिगत हो गये, जिससे आमदनी पूरी तरह बंद हो गई। सरगना के गिरोह के एक-दो दुस्साहसी सदस्य ने छापा मारने का प्रयास किया तो, एक सदस्य पर मुकदमा दर्ज हो गया एवं दूसरे का ऑडियो सामने आ गया, जो जुआ कराता है, इन दोनों पर ही पुलिस शीघ्र ही शिकंजा कसने वाली है। पोर्टल के पत्रकार बनाना ही अवैध कार्य है, साथ में इसके कथित पत्रकार वसूली भी करते हैं। जिस उद्देश्य से सरगना ने दुकान खोली थी, वह सफल न होने से सरगना अवसाद में चला गया है।
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(सरगना के गिरोह के ही एक सदस्य का ऑडियो सुनिए, जिसमें वह जुआरी को आश्वासन दे रहा है कि कोई नहीं पकड़ सकता)