बदायूं जिले में लड़कियाँ बिल्कुल भी सुरक्षित नजर नहीं आ रही हैं। यौन उत्पीड़न की वारदातें रोकने में पुलिस नाकाम साबित हो रही है। यौन उत्पीड़न की वारदातों को पुलिस झूठा करार देकर स्वयं की पीठ थपथपा लेती है, जिससे दरिंदों के हौसले और बढ़ते जा रहे हैं। गैंगरेप की वारदात ने पूरे इलाके में दहशत फैला दी है। एसएसपी के आदेश पर बमुश्किल मुकदमा दर्ज हुआ है लेकिन, पुलिस आरोपियों को गिरफ्तार करने में अभी भी रूचि नहीं ले रही है।
दुस्साहसिक वारदात बिसौली कोतवाली क्षेत्र की है, यहाँ 10 जुलाई की शाम को खेत पर चारा लेने गई नाबालिग को चाकू से डरा कर दबोच लिया और उसका दो लोगों ने मिल कर देर रात तक बेरहमी से यौन उत्पीड़न किया। किशोरी चीखती रही लेकिन, दरिंदों पर किशोरी की एक चीख का असर नहीं हुआ। थकहार कर दरिंदों ने किशोरी को मुक्त कर दिया तो, बदहवास किशोरी ने घर पहुंच कर घटना के संबंध में बताया। परिजनों के साथ आकर पीड़ित ने बिसौली कोतवाली में तहरीर दी लेकिन, पुलिस ने मुकदमा दर्ज नहीं किया।
पीड़ित किशोरी परिजनों के साथ एसएसपी से मिली तो, एसएसपी अशोक कुमार ने मुकदमा दर्ज करने का आदेश दिया। एसएसपी के आदेश पर बिसौली कोतवाली पुलिस ने मुकदमा तो दर्ज कर लिया है लेकिन, पुलिस आरोपियों को गिरफ्तार करने में रूचि नहीं ले रही है। घटना के चलते क्षेत्र की लड़कियाँ दहशत में बताई जा रही हैं और जंगल की ओर जाने से डर रही हैं।
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