कुलदेवी की कसम खा कर धंधा छोड़ने वाले ग्रामीण पुनः करने लगे कच्ची शराब का अवैध धंधा

कुलदेवी की कसम खा कर धंधा छोड़ने वाले ग्रामीण पुनः करने लगे कच्ची शराब का अवैध धंधा

बदायूं जिले के कच्ची शराब बनाने के लिए बदनाम गांवों में अवैध धंधा एक बार फिर होने लगा है जिन ग्रामीणों ने सम्मानित जीवन जीने का सपना देखना शुरू कर दिया था, जिन युवक-युवतियों ने समाज की मुख्यधारा से जुड़ने का संकल्प ले लिया था, जो महिलायें झूमने लगी थीं, उन सब के सपने चूर-चूर हो गये हैं, खुशियाँ मायूसी में बदल गई हैं और एक बार फिर लोग जेल भेजे जाने लगे हैं

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जी हाँ, बात कादरचौक थाना क्षेत्र के गाँव धनूपुरा और भोजपुर की हो रही है, यह दोनों गाँव दशकों से कच्ची शराब का अवैध धंधा करने को कुख्यात हैं, यहाँ कई बड़े चोर और बदमाश हैं, जो जिले और प्रदेश के बाहर जाकर अपराध करते रहे हैं, यहाँ के अधिकांश लोग मुकदमों में वांछित हैं, महिलायें तक अभियुक्त हैं, तमाम लोग जेलों में बंद हैं थाना पुलिस और अफसर इन गांवों के लोगों पर शिकंजा कसते रहे हैं पर, जमानत करा कर ग्रामीण पुनः वही धंधा करने लगते हैं, इन गांवों की आजीविका का साधन ही बन गया है कच्ची शराब का धंधा।

पिछले दिनों उझानी क्षेत्र में सीओ के रूप में अनिरुद्ध सिंह ने कार्यभार ग्रहण किया तो, उन्हें गाँव धनूपुरा और गाँव भोजपुर के बारे में जानकारी हुई, उन्होंने जो दशकों से होता आ रहा था, वह नहीं किया, क्योंकि आईपीसी से यहाँ के ग्रामीण डरते तो, बहुत पहले ही सुधर गये होते, सो उन्होंने शक्ति का दुरपयोग करने की जगह भावनात्मक रूप से कार्य करना शुरू किया, उन्होंने ग्रामीणों को जमा कर उनके अंदर मर चुकी मानवता को जागृत किया, उन्हें सम्मानित जीवन जीने के लिए प्रेरित किया, उन्हें उनकी संतानों के भविष्य के बारे में अनुभूति कराई तो, उनकी बात प्रत्येक व्यक्ति की समझ में आ गई

सीओ अनिरुद्ध सिंह की प्रेरणा से ग्रामीण सुधरने को तैयार हो गये, महिलायें पतियों और बेटों के सही मार्ग पर आने की कल्पना से ही झूमने लगीं, युवक और युवती पढ़ने-लिखने और नौकरी पाने के सपने देखने लगे ग्रामीण जिस कुलदेवी की पूजा कर और उसका आशीर्वाद लेकर अपराध करते थे, उन ग्रामीणों ने कुलदेवी की कसम खाकर अपराध न करने का वचन दे दिया अनिरुद्ध सिंह के आग्रह पर डीएम कुमार प्रशांत और एसएसपी संकल्प शर्मा ने भी भरपूर सहयोग किया, यहाँ कैंप लगा कर योजनाओं की जानकारी दी गई, बच्चियों को साइकिल भेंट करने के साथ तमाम लोगों को विभिन्न योजनाओं के द्वारा लाभान्वित भी किया गया, इससे ग्रामीणों का विश्वास शासन-प्रशासन के प्रति मजबूत होने लगा

धनूपुरा और भोजपुर के ग्रामीण मुख्यधारा से पूरी तरह कटे हुए थे, उनका जीवन पटरी पर आने की दिशा में चल पड़ा था पर, पटरी तक आने से पहले ही सीओ अनिरुद्ध सिंह तबादला हो गया, उन्हें उझानी क्षेत्र से हटा कर बिल्सी क्षेत्र पर तैनात कर दिया गया, उनके हटते ही धनूपुरा और भोजपुर में मातम छा गया, यहाँ चल रहे जागरूकता अभियान की हवा निकल गई, साथ ही विकास कार्यों की गति भी धीमी पड़ गई, जिससे आहत ग्रामीण पुनः पुराने धंधे की ओर लौटने लगे हैं कादरचौक थाना पुलिस द्वारा अवैध शराब का निर्माण करते हुए धनूपुरा निवासी धर्मेश पुत्र सियाराम को एक जरी कैन में 10 लीटर यूरिया मिश्रित शराब, 2 किलोग्राम यूरिया खाद तथा शराब बनाने के उपकरण समेत गिरफ्तार कर लिया, उसके विरुद्ध मुकदमा अपराध संख्या- 294/20 धारा 60 (2) आबकारी अधिनियम व 272 आईपीसी पंजीकृत करते हुए 19 नवंबर को जेल दिया

सैकड़ों लोगों का जीवन सुधारने का प्रयास करने वाले सीओ अनिरुद्ध सिंह को पुरस्कार मिलना चाहिए था, उनका अगर, शासन स्तर से भी तबादला हो जाता तो, उसे रुकवाने का प्रयास करना चाहिए था लेकिन, हुआ उल्टा, उन्हें जिला स्तर से ही बिल्सी भेज दिया गया। स्पेशलिस्ट अफसरों को संबंधित क्षेत्रों में विशेष तौर पर तैनात किया जाता रहा है, किसी ने सूखा ग्रस्त, बाढ़ ग्रस्त और आपराधिक क्षेत्रों में कार्य किया होता है तो, ऐसे अफसरों को विशेष अभियान चलाने के लिए भेजा जाता रहा है पर, बेहतरीन कार्य कर रहे अनिरूद्ध सिंह को क्यों हटा दिया गया, यह किसी की भी समझ में नहीं आ रहा।

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