बदायूं जिले की सहसवान नगर पालिका परिषद के हालात भयावह हो चले हैं। पालिका की कार्यप्रणाली से लग रहा है कि यहाँ नियम-कानून के मायने बचे ही नहीं हैं। भ्रष्टाचार और लापरवाही चरम पर पहुंच गई है, जिससे नागरिक त्राहि-त्राहि करते नजर आ रहे हैं। गंदगी और दुर्गंध ने लोगों की जिंदगी तबाह कर रखी है।
सहसवान के लोगों का कहना है कि पालिका कार्यालय भ्रष्टाचार और लापरवाही के मकड़जाल में फंसा है। जरूरी दैनिक कार्य भी नहीं हो पा रहे हैं। सहसवान वाले गंदगी और दुर्गंध से बेहद परेशान नजर आ रहे हैं। मोहल्लों में बाहरी व्यक्ति खड़ा भी नहीं हो सकता, ऐसे माहौल में लोग रहने को मजबूर हैं।
लोगों का कहना है कि सफाई कर्मी कई-कई दिन नहीं आते, जिससे कूड़ेदान भरे रहते हैं। नालियां गंदगी से लबालब रहती हैं, जिससे दुर्गंध बनी रहती है, इस सबसे मोहल्लों में बीमारियाँ फैल रही हैं, कई मोहल्ले बुखार की चपेट में बताये जा रहे हैं। जलभराव के कारण मच्छर पनपते रहते हैं, वहीं गंदगी में सूअर पड़े रहते हैं, जो राह चलते लोगों को गंदा कर देते हैं।
बताते हैं कि ईओ पूरी तरह लापरवाह हैं, जो कभी-कभी ही आते हैं, इसी तरह पालिकाध्यक्ष भी कार्यालय में नहीं बैठते। नागरिक ईओ और पालिकाध्यक्ष से मिल ही नहीं पाते। लोगों का कहना है कि घटिया किस्म के विकास कार्यों में गोलमाल करना ही उद्देश्य रह गया है, इसके अलावा पालिका किसी जरूरी काम पर ध्यान नहीं दे रही है। बता दें कि फिलहाल एडीएम (प्रशासन) के पद पर तेजतर्रार और ईमानदार ऋतु पुनिया हैं, उनके संज्ञान में ईओ और पालिकाध्यक्ष की मनमानी पहुंच गई तो, कार्रवाई से बच नहीं पायेंगे।
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बदायूं जिले की सहसवान नगर पालिका परिषद के हालात भयावह हो चले हैं। पालिका की कार्यप्रणाली से लग रहा है कि यहाँ नियम-कानून के मायने बचे ही नहीं हैं। भ्रष्टाचार और लापरवाही चरम पर पहुंच गई है, जिससे नागरिक त्राहि-त्राहि करते नजर आ रहे हैं। गंदगी और दुर्गंध ने लोगों की जिंदगी तबाह कर रखी है।
सहसवान के लोगों का कहना है कि पालिका कार्यालय भ्रष्टाचार और लापरवाही के मकड़जाल में फंसा है। जरूरी दैनिक कार्य भी नहीं हो पा रहे हैं। सहसवान वाले गंदगी और दुर्गंध से बेहद परेशान नजर आ रहे हैं। मोहल्लों में बाहरी व्यक्ति खड़ा भी नहीं हो सकता, ऐसे माहौल में लोग रहने को मजबूर हैं।
लोगों का कहना है कि सफाई कर्मी कई-कई दिन नहीं आते, जिससे कूड़ेदान भरे रहते हैं। नालियां गंदगी से लबालब रहती हैं, जिससे दुर्गंध बनी रहती है, इस सबसे मोहल्लों में बीमारियाँ फैल रही हैं, कई मोहल्ले बुखार की चपेट में बताये जा रहे हैं। जलभराव के कारण मच्छर पनपते रहते हैं, वहीं गंदगी में सूअर पड़े रहते हैं, जो राह चलते लोगों को गंदा कर देते हैं।
बताते हैं कि ईओ पूरी तरह लापरवाह हैं, जो कभी-कभी ही आते हैं, इसी तरह पालिकाध्यक्ष भी कार्यालय में नहीं बैठते। नागरिक ईओ और पालिकाध्यक्ष से मिल ही नहीं पाते। लोगों का कहना है कि घटिया किस्म के विकास कार्यों में गोलमाल करना ही उद्देश्य रह गया है, इसके अलावा पालिका किसी जरूरी काम पर ध्यान नहीं दे रही है। बता दें कि फिलहाल एडीएम (प्रशासन) के पद पर तेजतर्रार और ईमानदार ऋतु पुनिया हैं, उनके संज्ञान में ईओ और पालिकाध्यक्ष की मनमानी पहुंच गई तो, कार्रवाई से बच नहीं पायेंगे।
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