बदायूं जिले के कद्दावर नेता पूर्व दर्जा राज्यमंत्री आबिद रजा ने अपने आवास पर पत्रकारों से वार्ता की। पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान की अध्यक्षता में फैजाबाद के पूर्व विधायक रशदी मियां के आवास पर 1 दिसंबर को बैठक हुई थी, जिसके बारे में आबिद रजा ने खुलासा किया।
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आबिद रजा ने बताया कि बैठक में तीन अहम निर्णय लिए गये थे, जिसमें एक निर्णय यह रहा कि गठबंधन या, महागठबंधन की बैठक में साफ-सुधरी छवि के मुसलमान को मशविरे में शामिल रखा जाये। दूसरा निर्णय यह लिया गया कि गठबंधन या, महागठबंधन का घोषणा पत्र बनाते समय काबिल मुस्लिम नेता और मशवराती काउंसिल का मशविरा भी ध्यान में रखा जाये। तीसरा निर्णय यह हुआ कि संभावित गठबंधन या, महागठबंधन को न सिर्फ यह ध्यान रखना होगा बल्कि, जरूरी होगा कि किसी भी चापलूस, मुल्क के दुश्मन, मुस्लिमों का दुश्मन, कमजोर चरित्र, बेईमान और बदनाम व्यक्ति को टिकट न दिया जाये, बिना वजह मुसलमानों और उनके अकीदे की तजलील करने वालों को किसी भी हालत में टिकट देने का फैसला न दिया जाये।
आबिद रजा ने बताया कि मशवराती काउंसिल की अगली बैठक 16 दिसंबर को मेरठ में करने का निर्णय भी लिया गया। उन्होंने कहा कि मुसलमान अब अपने आपको को और ठगवाने को तैयार नहीं हैं, हम भाजपा को हटाना चाहते हैं लेकिन, इसके लिए मुसलमान अपने आपको खत्म करने को तैयार नहीं। जो लोग मुसलमानों का वोट लेकर भी मुसलमानों की अहमियत खत्म करना चाहते हैं, वह अपनी सोच बदल लें, यह उनके हक में बेहतर होगा।
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