राजनीति सेवा का नहीं, बल्कि लाभ का पद पाने का माध्यम बन कर रह गई है। राजनीति का क, ख, ग सीखने से पहले व्यक्ति अब लाभ का पद चाहता है। जो नेता और दल लाभ का पद दे दे, वह अच्छा और जो न दे, उस दल और नेता को बुरा कहने में व्यक्ति देर नहीं लगाता। विधान सभा चुनाव में भाग लेने के लिए ऐसे लोग भी तत्पर हैं, जो राजनीति और समाज सेवा के क्षेत्र में शिशु हैं, लेकिन टिकट न मिलने पर विद्रोह करने में भी देर नहीं लगाते। हाल-फिलहाल कैप्टन अर्जुन प्रताप सिंह के संबंध में ऐसी सूचनायें आ रही हैं कि वे समाजवादी पार्टी से विद्रोह कर सकते हैं।
जी हाँ, सूचना चौंकाने वाली अवश्य है, पर सूत्रों का कहना है कि दातागंज विधान सभा क्षेत्र से समाजवादी पार्टी द्वारा टिकट न देने से कैप्टन अर्जुन नाराज चल रहे हैं। हालाँकि हाईकमान ने टिकट को लेकर उन्हें पुनः समीक्षा करने का आश्वासन दिया था, पर सूत्रों का कहना है कि उम्मीदवार का बदलाव होना मुश्किल है, इसका अहसास कैप्टन अर्जुन को हो गया, तो वे कांग्रेस के शीर्ष नेताओं के संपर्क में चले गये।
सूत्रों का कहना है कि प्रदेश अध्यक्ष राजबब्बर और मुख्यमंत्री पद की प्रत्याशी शीला दीक्षित को क्षेत्र में बुला कर बड़ी रैली आयोजित की जायेगी, जिसमें कैप्टन अर्जुन कांग्रेस में जाने की घोषणा करेंगे। हालांकि अभी कैप्टन अर्जुन की ओर से ऐसा कोई संकेत नहीं दिया गया है और न ही कांग्रेसी कुछ कह रहे हैं, जिससे खबर की पुष्टि नहीं हो पा रही है।
उधर कैप्टन अर्जुन क्षेत्र में लगातार संपर्क कर रहे हैं। उनके व्यवहार से ज्यादा लग्जरी गाड़ियाँ क्षेत्र में चर्चा का विषय बनी हुई हैं। कैप्टन अर्जुन को क्षेत्र की जनता से समर्थन मिलता भी नजर आ रहा है, तभी वे हर स्थिति में अगला विधान सभा चुनाव लड़ने का मन बना चुके हैं। यह भी बता दें कि कैप्टन अर्जुन दातागंज विधान सभा क्षेत्र से ही जिला पंचायत सदस्य चुने गये हैं और उन्होंने यह चुनाव विशाल अंतर से जीता था। कैप्टन अर्जुन नरेश प्रताप सिंह और चेतना सिंह के पुत्र हैं।
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