बदायूं जिले की नगर पंचायत वजीरगंज में एक और बड़ा कारनामा हो गया है। तालाबों की जमीन बेचने के लिए कुख्यात गैंग ने एक और तालाब की जमीन बेच दी है। प्लॉट चालीस लाख रूपये में बेचा गया है, इस बड़ी रकम में तहसील प्रशासन भी साझीदार बताया जा रहा है, सो तहसील प्रशासन खुल कर भू-माफिया के साथ खड़ा नजर आ रहा है। अधिशासी अधिकारी ने उप-जिलाधिकारी एवं अपर जिलाधिकारी (प्रशासन) को पत्र लिख कर अवगत करा दिया है।
नगर पंचायत वजीरगंज के अधिशासी अधिकारी डीके राय ने बिसौली के उप-जिलाधिकारी एवं अपर जिलाधिकारी (प्रशासन) को भेजे पत्र में लिखा है कि गाटा संख्या- 648 अभिलेखों में नगर पंचायत की संपत्ति के रूप में दर्ज है, इस भूमि को फर्जी बैनामे के सहारे कमलेश पत्नी नरेंद्र कुमार कब्जाना चाहती हैं, इन्होंने मनोज कुमार सिंह नाम के व्यक्ति से बैनामा कराया है, जबकि उक्त भूमि मनोज कुमार सिंह के नाम पर दर्ज नहीं है। कमलेश और मनोज से अभिलेख मांगे गये तो, वे अभिलेख भी नहीं दिखा पाये, इसके बावजूद वे पैमाइश करा कर भूमि पर कब्जा करने का प्रयास कर रहे हैं। ईओ ने पैमाइश न कराने की मांग की है। अब देखते हैं कि उप-जिलाधिकारी- बिसौली और अपर जिलाधिकारी (प्रशासन) क्या निर्णय लेते हैं।
बता दें कि भाजपा सरकार बनने के बाद से एक कुख्यात गैंग द्वारा वजीरगंज में तालाबों की जमीन करोड़ों रूपये में बेच दी गई हैं। हालात इतने भयावह हो चले हैं कि सरकारी जमीन बेचने को लेकर वजीरगंज न सिर्फ जिले भर में कुख्यात हो गया है बल्कि, लखनऊ तक चर्चे हैं, इसके बावजूद पुलिस-प्रशासन कुख्यात गैंग के विरुद्ध कार्रवाई नहीं करता, इसीलिए कुख्यात गैंग का दुस्साहस लगातार बढ़ रहा है और गैंग जमीनों को लगातार बेच रहा है। ईओ डीके राय ने बताया कि वे नगर पंचायत की जमीन पर किसी भी अवस्ठा में कब्जा नहीं होने देंगे।
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