बदायूं लोकसभा क्षेत्र से समाजवादी पार्टी के सांसद धर्मेन्द्र यादव रविवार को संसदीय क्षेत्र में आयोजित होने वाले विभिन्न कार्यक्रमों में भाग लेने को पहुंच गये। जिले की सीमा पर उनका जोरदार स्वागत करने की तैयारी कर रखी थी लेकिन, सांसद ने आतंकी घटना के चलते कार्यकर्ताओं से मालायें उल्लास के साथ स्वीकार नहीं कीं।
सांसद धर्मेन्द्र यादव सहसवान विधान सभा क्षेत्र के ग्राम असलौर में पहुंचे, जहाँ आग लगने से एक बच्ची का आकस्मिक निधन हो गया था, उसके परिजनों का सांसद ने दुःख बांटा। ग्राम जाहिदपुर में निजी कार्यक्रम में शामिल होने के बाद सांसद कचहरी स्थित शहीद स्थल पर पहुंचे और पुलवामा में शहीद हुये जवानों को अश्रुपूर्ण श्रद्धांजलि अर्पित की, इसके बाद कस्बा बिनावर में पाल समाज के सम्मेलन में मुख्य अतिथि के रूप में सम्मिलित हुये तथा कई सपा कार्यकर्ताओं द्वारा आयोजित निजी कार्यक्रमों में भी भाग लिया।
कस्बा बिनावर में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित जनसमूह को सम्बोधित करते हुये सांसद ने कहा कि जब से केन्द्र व प्रदेश में भाजपा की सरकार पदारूढ़ हुई है, हर तरफ जंगलराज कायम है, कानून व्यवस्था पूरी तरह से ठप है, पूरे प्रदेश में आम जनता व सपा कार्यकर्ताओं को हिटलर शाही व्यवस्था के तहत प्रताड़ित किया जा रहा है, उन्होंने कहा कि चुनाव से पूर्व प्रधानमंत्री मोदी ने सीमा पर एक सिर के बदले दस सिर लाने की बात कही थी और कहा था कि नोटबंदी से आतंकवाद की कमर टूट चुकी है, विगत् 14 फरवरी को पुलवामा में हुये आंतकवादी हमले में 42 भारतीय जवान शहीद हो गये और एक के बदले दस सिर लाने की बात कहने वाले प्रधानमंत्री ने अभी तक कोई ठोस कार्यवाही नहीं की है, सेना तथा आम जनता में इसका भारी रोष व्याप्त है।
उन्होनें आगे कहा कि वर्तमान सरकारों में पाल समाज सहित तमाम पिछड़ी व अनुसूचित जातियों के साथ अन्याय हो रहा है, जबकि चुनावों में झूठे वादे करके भाजपा ने केन्द्र व प्रदेश में सरकार बना ली थी, छात्र, नौजवान, किसान, पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक, व्यापारी सहित समाज का हर वर्ग भाजपा की जन विरोधी नीतियों को अच्छी तरह से समझ चुका है तथा आने वाले लोकसभा चुनाव में प्रदेश सहित पूरे देश से भाजपा का सफाया करके ही दम लेंगे।
पूर्व मंत्री दीप सिंह पाल ने कहा कि पाल समाज को अधिकांश मात्रा में भाजपा ने केवल वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल किया था तथा इस समाज के विकास के लिए केन्द्र व प्रदेश की भाजपा सरकारों ने कोई ठोक कदम नहीं उठाये, जबकि पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव की पिछली सपा सरकार में पाल समाज सहित तमाम पिछड़ी जातियों, अनुसूचित जातियों के उत्थान के लिए कई जनकल्याणाकारी योजनायें चलाई गईं, जो कि वर्तमान की भाजपा सरकारों ने बंद कर दी हैं।
इस मौके पर पूर्व राज्यमंत्री व विधायक ओमकार सिंह यादव, पूर्व दर्जा राज्यमंत्री प्रदीप यादव उर्फ गुड्डू भईया, नवाव सिंह, ओमवीर सिंह, श्रवण सिंह, मोहर सिंह पाल, मोदप्रकाश पाल, बलवीर सिंह, त्यागी सिंह राजपूत, देवेन्द्र शाक्य, गुड्डू गाजी, दुर्वेश यादव, सुनील यादव, अवधेश यादव, विजेन्द्र यादव, दलवीर सिंह, राजवीर सिंह, यासीन गद्दी, डॉ. शकील, वसीम अहमद अंसारी, नत्थू राम कश्यप, स्वाले चौधरी, नरोत्तम सिंह, राजू यादव, आमिर, हारून खां, सतीश यादव, मोतशाम सिद्दीकी, मो. मियां, सुहेल सिद्दीकी, इमराना, रनवीर सिंह, अवधेश यादव, विपिन यादव, महेश गुप्ता, भानु प्रकाश, भूराज सिंह, सोमेन्द्र यादव, सीमा यादव, प्यारे सिंह, शिशुपाल, गौरव यादव, आमोद गुप्ता, नवनीत गुप्ता, वसीम गद्दी, चरन सिंह, शानू चौधरी और प्रभात अग्रवाल सहित सैकड़ों लोग उपस्थित रहे।
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